बिहार भारत के पूर्वी हिस्से में स्थित एक ऐतिहासिक और सांस्कृतिक राज्य है। यह 94,163 वर्ग किलोमीटर के क्षेत्र में फैला हुआ है और यहां की जनसंख्या 10.4 करोड़ (2011 की जनगणना के अनुसार) है। बिहार में कुल 38 जिले हैं, जिनमें पटना राज्य की राजधानी है। यह राज्य गंगा नदी से समृद्ध है और कृषि आधारित अर्थव्यवस्था का केंद्र है। बिहार के प्रमुख ऐतिहासिक स्थलों में नालंदा और बोधगया शामिल हैं, जो बौद्ध धर्म के महत्वपूर्ण केंद्र हैं।
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38 जिलों, जिला मुख्यालयों और राज्य की राजधानी को दर्शाने वाले Bihar map in Hindi देखें।
तथ्य | विवरण |
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राज्य का नाम | बिहार |
राजधानी | पटना |
कुल क्षेत्रफल | 94,163 वर्ग किलोमीटर |
जनसंख्या | 10.4 करोड़ (2011 की जनगणना) |
जनसंख्या घनत्व | 1,106 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर |
साक्षरता दर | 61.8% |
राजकीय भाषा | हिंदी |
अन्य भाषाएँ | मैथिली, भोजपुरी, मगही, अंगिका |
जिलों की संख्या | 38 |
मुख्य नदियाँ | गंगा, कोसी, गंडक, सोन, बागमती |
प्रमुख फसलें | धान, गेहूं, मक्का, गन्ना |
प्रसिद्ध स्थान | बोधगया, नालंदा, राजगीर, वैशाली, पटना साहिब |
वन क्षेत्र | 6.87% |
धार्मिक जनसंख्या | 82.7% हिंदू, 16.9% मुस्लिम, अन्य धर्म |
प्रमुख उद्योग | रेशम उत्पादन, चीनी मिलें, खाद्य प्रसंस्करण |
राष्ट्रीय उद्यान | वाल्मीकि राष्ट्रीय उद्यान |
राजकीय पक्षी | गौरैया |
राजकीय पशु | गौरी गाय |
राजकीय फूल | गेंदा |
राजकीय वृक्ष | पीपल |
मुख्य त्योहार | छठ पूजा, दशहरा, दिवाली |
पर्यटन स्थल | महाबोधि मंदिर, नालंदा विश्वविद्यालय, पटना संग्रहालय |
प्रमुख व्यक्ति | डॉ. राजेंद्र प्रसाद, जयप्रकाश नारायण, शेरशाह सूरी |
क्रम संख्या | जिले का नाम | मुख्यालय | क्षेत्रफल (वर्ग किमी) | जनसंख्या (2011 की जनगणना) | प्रमुख भाषा |
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1 | अररिया | अररिया | 2,830 | 28,11,569 | हिंदी, मैथिली |
2 | अरवल | अरवल | 639 | 7,00,843 | हिंदी, मगही |
3 | औरंगाबाद | औरंगाबाद | 3,389 | 25,40,073 | हिंदी, मगही |
4 | बांका | बांका | 3,019 | 20,29,339 | हिंदी, अंगिका |
5 | बेगूसराय | बेगूसराय | 1,918 | 29,70,541 | हिंदी, मैथिली |
6 | भागलपुर | भागलपुर | 2,569 | 30,37,766 | हिंदी, अंगिका |
7 | भोजपुर | आरा | 2,474 | 27,21,136 | हिंदी, भोजपुरी |
8 | बक्सर | बक्सर | 1,624 | 17,06,352 | हिंदी, भोजपुरी |
9 | दरभंगा | दरभंगा | 2,279 | 39,37,385 | हिंदी, मैथिली |
10 | पूर्वी चंपारण | मोतिहारी | 3,969 | 50,99,371 | हिंदी, भोजपुरी |
11 | गया | गया | 4,976 | 43,91,418 | हिंदी, मगही |
12 | गोपालगंज | गोपालगंज | 2,033 | 25,62,012 | हिंदी, भोजपुरी |
13 | जमुई | जमुई | 3,098 | 17,60,405 | हिंदी, अंगिका |
14 | जहानाबाद | जहानाबाद | 932 | 11,25,313 | हिंदी, मगही |
15 | कैमूर | भभुआ | 3,336 | 16,26,384 | हिंदी, भोजपुरी |
16 | कटिहार | कटिहार | 3,057 | 30,67,989 | हिंदी, मैथिली |
17 | खगड़िया | खगड़िया | 1,486 | 16,66,886 | हिंदी, मैथिली |
18 | किशनगंज | किशनगंज | 1,884 | 16,90,948 | हिंदी, मैथिली |
19 | लखीसराय | लखीसराय | 1,229 | 10,00,912 | हिंदी, मगही |
20 | मधेपुरा | मधेपुरा | 1,788 | 19,99,297 | हिंदी, मैथिली |
21 | मधुबनी | मधुबनी | 3,501 | 44,87,379 | हिंदी, मैथिली |
22 | मुंगेर | मुंगेर | 1,419 | 13,67,765 | हिंदी, अंगिका |
23 | मुजफ्फरपुर | मुजफ्फरपुर | 3,172 | 48,01,062 | हिंदी, मैथिली |
24 | नालंदा | बिहारशरीफ | 2,355 | 28,79,210 | हिंदी, मगही |
25 | नवादा | नवादा | 2,492 | 22,19,146 | हिंदी, मगही |
26 | पश्चिमी चंपारण | बेतिया | 5,228 | 39,37,731 | हिंदी, भोजपुरी |
27 | पटना | पटना | 3,202 | 58,38,465 | हिंदी, मगही |
28 | पूर्णिया | पूर्णिया | 3,229 | 32,64,619 | हिंदी, मैथिली |
29 | रोहतास | सासाराम | 3,852 | 29,59,918 | हिंदी, भोजपुरी |
30 | सहरसा | सहरसा | 1,681 | 19,00,661 | हिंदी, मैथिली |
31 | समस्तीपुर | समस्तीपुर | 2,904 | 42,61,566 | हिंदी, मैथिली |
32 | शेखपुरा | शेखपुरा | 689 | 6,34,927 | हिंदी, मगही |
33 | शिवहर | शिवहर | 443 | 6,56,246 | हिंदी, मैथिली |
34 | सीतामढ़ी | सीतामढ़ी | 2,294 | 34,23,574 | हिंदी, मैथिली |
35 | सुपौल | सुपौल | 2,410 | 22,23,701 | हिंदी, मैथिली |
36 | वैशाली | हाजीपुर | 2,036 | 34,95,021 | हिंदी, भोजपुरी |
37 | सारण | छपरा | 2,641 | 39,51,862 | हिंदी, भोजपुरी |
38 | सीवान | सीवान | 2,219 | 33,31,566 | हिंदी, भोजपुरी |
बिहार भारत के पूर्वी हिस्से में स्थित है और इसका कुल क्षेत्रफल 94,163 वर्ग किलोमीटर है। यह उत्तर में नेपाल, पूर्व में पश्चिम बंगाल, दक्षिण में झारखंड और पश्चिम में उत्तर प्रदेश से घिरा हुआ है। गंगा नदी राज्य के मध्य से बहती है, जो इसे उपजाऊ बनाती है।
2011 की जनगणना के अनुसार, बिहार की जनसंख्या 10.4 करोड़ है, जो इसे भारत का तीसरा सबसे अधिक आबादी वाला राज्य बनाती है। राज्य की औसत साक्षरता दर 61.8% है, जिसमें पुरुष साक्षरता 71.2% और महिला साक्षरता 51.5% है।
बिहार में कुल 38 जिले हैं। राज्य की राजधानी पटना है, जो प्रशासनिक और व्यावसायिक गतिविधियों का केंद्र है। अन्य प्रमुख जिलों में गया, मुजफ्फरपुर, भागलपुर और दरभंगा शामिल हैं।
बिहार की अर्थव्यवस्था कृषि पर आधारित है। राज्य में धान, गेहूं, मक्का, गन्ना और दलहन की खेती प्रमुख है। कृषि में 70% से अधिक जनसंख्या संलग्न है।
राज्य में पारंपरिक उद्योग जैसे हस्तशिल्प, रेशम और चीनी उद्योग प्रमुख हैं। हाल के वर्षों में औद्योगिक विकास को प्रोत्साहित करने के लिए कई नीतियां बनाई गई हैं।
बिहार में नालंदा, बोधगया और वैशाली जैसे ऐतिहासिक स्थल हैं, जो इसे भारत के सांस्कृतिक और धार्मिक पर्यटन का महत्वपूर्ण केंद्र बनाते हैं। बोधगया बौद्ध धर्म का प्रमुख स्थल है, जहां भगवान बुद्ध को ज्ञान प्राप्त हुआ था।
बिहार की प्रमुख भाषाएं हिंदी, मैथिली, भोजपुरी, मगही और अंगिका हैं। राज्य का साहित्यिक योगदान भी समृद्ध है, जिसमें विद्यापति और भिखारी ठाकुर जैसे महान कवि शामिल हैं।
बिहार में नालंदा और विक्रमशिला विश्वविद्यालय प्राचीन काल के प्रसिद्ध शिक्षा केंद्र थे। वर्तमान में, राज्य में पटना विश्वविद्यालय और नालंदा विश्वविद्यालय जैसे प्रतिष्ठित संस्थान हैं।
बिहार में धार्मिक और ऐतिहासिक पर्यटन स्थल प्रचुर मात्रा में हैं। बोधगया, नालंदा, राजगीर, पावापुरी और पटना साहिब गुरुद्वारा प्रमुख पर्यटन स्थल हैं।
बिहार में सड़क, रेल और हवाई यातायात का अच्छा नेटवर्क है। पटना में जयप्रकाश नारायण अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा प्रमुख हवाई अड्डा है। राज्य की कुल सड़क लंबाई 2,44,000 किलोमीटर है।
बिहार का इतिहास वैदिक काल से जुड़ा हुआ है। इस क्षेत्र को पहले मगध, वज्जि, और मिथिला के रूप में जाना जाता था। वैदिक साहित्य में इस क्षेत्र का उल्लेख मिलता है। मिथिला विदेह राज्य का केंद्र था, जिसे जनक के शासनकाल में धार्मिक और सांस्कृतिक उन्नति प्राप्त हुई।
छठी शताब्दी ईसा पूर्व में बिहार 16 महाजनपदों में से एक था। मगध राज्य, जिसकी राजधानी पहले राजगीर और बाद में पाटलिपुत्र थी, भारत के सबसे शक्तिशाली राज्यों में से एक था। इस समय गौतम बुद्ध ने बौद्ध धर्म की स्थापना की, और महावीर ने जैन धर्म को प्रचारित किया।
चंद्रगुप्त मौर्य ने 321 ईसा पूर्व में मौर्य साम्राज्य की स्थापना की, जिसकी राजधानी पाटलिपुत्र थी। उनके शासनकाल में बिहार राजनीतिक और सांस्कृतिक गतिविधियों का केंद्र बना। सम्राट अशोक, जिन्हें बौद्ध धर्म के महान संरक्षक के रूप में जाना जाता है, ने भी इसी साम्राज्य में शासन किया।
गुप्त साम्राज्य (चौथी से छठी शताब्दी) को भारत का सुवर्ण युग कहा जाता है। इस समय पाटलिपुत्र विद्या, कला और विज्ञान का केंद्र था। आर्यभट्ट और वराहमिहिर जैसे विद्वान इसी काल में सक्रिय थे।
पाल वंश (8वीं से 12वीं शताब्दी) ने बिहार पर लंबे समय तक शासन किया। पाल राजाओं ने नालंदा और विक्रमशिला विश्वविद्यालयों को संरक्षण दिया। इसके बाद सेन वंश ने इस क्षेत्र पर शासन किया।
12वीं शताब्दी के अंत में बिहार दिल्ली सल्तनत का हिस्सा बन गया। मुगल काल में बिहार ने एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। शेरशाह सूरी, जिन्होंने भारत में आधुनिक प्रशासन प्रणाली की नींव रखी, सासाराम के रहने वाले थे।
1857 के स्वतंत्रता संग्राम में बिहार के वीरों ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। कुंवर सिंह जैसे स्वतंत्रता सेनानी का योगदान अमूल्य था। ब्रिटिश शासन के दौरान बिहार बंगाल प्रेसीडेंसी का हिस्सा था, लेकिन 1912 में इसे एक स्वतंत्र प्रांत के रूप में स्थापित किया गया।
बिहार महात्मा गांधी के चंपारण सत्याग्रह (1917) का केंद्र था, जो भारत के स्वतंत्रता आंदोलन का एक महत्वपूर्ण अध्याय है। जयप्रकाश नारायण और डॉ. राजेंद्र प्रसाद जैसे नेता इसी भूमि से थे।
2000 में बिहार का विभाजन हुआ, और झारखंड एक अलग राज्य बना। वर्तमान में, बिहार 38 जिलों और 10.4 करोड़ की जनसंख्या के साथ भारत का तीसरा सबसे बड़ा राज्य है। यह कृषि, सांस्कृतिक विरासत, और धार्मिक स्थलों के लिए प्रसिद्ध है।
बिहार का इतिहास इसकी समृद्ध संस्कृति में झलकता है। बौद्ध, जैन, और हिंदू धर्म की जड़ें इसी राज्य से जुड़ी हैं। नालंदा और विक्रमशिला जैसे प्राचीन विश्वविद्यालयों ने इसे शिक्षा का केंद्र बनाया।
बिहार भारत के पूर्वी हिस्से में स्थित एक प्रमुख राज्य है। यह 94,163 वर्ग किलोमीटर के क्षेत्र में फैला हुआ है, जो भारत के कुल क्षेत्रफल का लगभग 2.86% है। बिहार उत्तर में नेपाल, दक्षिण में झारखंड, पूर्व में पश्चिम बंगाल और पश्चिम में उत्तर प्रदेश से घिरा हुआ है। राज्य का अक्षांश और देशांतर 24°20' से 27°31' उत्तरी अक्षांश और 83°19' से 88°17' पूर्वी देशांतर के बीच स्थित है।
बिहार में गर्मी का मौसम मार्च से जून तक रहता है। इस दौरान तापमान 35°C से 45°C के बीच रहता है। मई और जून के महीने सबसे गर्म होते हैं।
बिहार में मानसून जुलाई से सितंबर तक सक्रिय रहता है। राज्य में औसत वार्षिक वर्षा 1,000 से 1,500 मिमी होती है। गंगा नदी के मैदानी क्षेत्र में मानसून के दौरान पर्याप्त वर्षा होती है।
सर्दी का मौसम नवंबर से फरवरी तक रहता है। इस दौरान न्यूनतम तापमान 5°C से 10°C तक गिर जाता है। जनवरी का महीना सबसे ठंडा होता है।
बिहार का अधिकांश हिस्सा गंगा के उपजाऊ मैदान में स्थित है। गंगा नदी राज्य को दो भागों में विभाजित करती है। उत्तरी भाग हिमालय के तलहटी क्षेत्र से प्रभावित है, जबकि दक्षिणी भाग विंध्य पर्वत शृंखला के करीब है।
गंगा बिहार की सबसे प्रमुख नदी है, जो राज्य के मध्य से बहती है। इसकी सहायक नदियाँ कोसी, गंडक, सोन, पुनपुन और बागमती हैं। कोसी नदी को \"बिहार का शोक\" भी कहा जाता है, क्योंकि यह हर साल बाढ़ लाती है।
बिहार में मुख्य रूप से जलोढ़ मिट्टी पाई जाती है, जो कृषि के लिए अत्यंत उपयुक्त है। इसके अलावा, उत्तरी क्षेत्र में हल्की और बलुई मिट्टी पाई जाती है।
बिहार की प्रमुख फसलें धान, गेहूं, मक्का और गन्ना हैं। राज्य का 80% से अधिक जनसंख्या कृषि पर निर्भर है। यहां की उपजाऊ भूमि भारत में खाद्यान्न उत्पादन में महत्वपूर्ण योगदान देती है।
बिहार का लगभग 6.87% क्षेत्र वनाच्छादित है। प्रमुख वन क्षेत्रों में वाल्मीकि राष्ट्रीय उद्यान और भीमबांध अभयारण्य शामिल हैं।
बिहार के जंगलों में बाघ, हाथी, चीतल, नीलगाय और विभिन्न पक्षी प्रजातियाँ पाई जाती हैं। वाल्मीकि राष्ट्रीय उद्यान बाघों के संरक्षण के लिए प्रसिद्ध है।
कोसी और गंडक जैसी नदियों के कारण हर साल बिहार में बाढ़ आती है, जिससे जनजीवन प्रभावित होता है।
बिहार भूकंप प्रभावित क्षेत्र में स्थित है। 1934 का बिहार-नेपाल भूकंप राज्य के इतिहास की सबसे बड़ी आपदाओं में से एक है।
2011 की जनगणना के अनुसार, बिहार की जनसंख्या 10.4 करोड़ है, जो इसे भारत का तीसरा सबसे अधिक आबादी वाला राज्य बनाती है। राज्य की जनसंख्या घनत्व 1,106 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर है।
बिहार भारत के प्रमुख कृषि आधारित राज्यों में से एक है। इसकी अर्थव्यवस्था में कृषि, सेवा क्षेत्र और उद्योगों का योगदान महत्वपूर्ण है। 2021-22 के आर्थिक सर्वेक्षण के अनुसार, बिहार की सकल राज्य घरेलू उत्पाद (GSDP) ₹7.97 लाख करोड़ थी, जो इसे भारत के तेजी से बढ़ते राज्यों में से एक बनाती है।
बिहार की अर्थव्यवस्था में कृषि का योगदान लगभग 25% है। राज्य की 80% जनसंख्या कृषि पर निर्भर है। मुख्य फसलें धान, गेहूं, मक्का, गन्ना और दलहन हैं। राज्य में उत्पादित मखाना और लीची भारत के अन्य हिस्सों में भी लोकप्रिय हैं।
2021-22 के दौरान, बिहार ने 1.61 करोड़ टन धान और 61 लाख टन गेहूं का उत्पादन किया। गन्ना उत्पादन 1.36 करोड़ टन रहा, जो राज्य की चीनी मिलों का आधार है।
राज्य सरकार द्वारा चलाए जा रहे जीविका और कृषि रोडमैप जैसे कार्यक्रमों ने किसानों की आय बढ़ाने में मदद की है।
बिहार के पारंपरिक उद्योगों में हथकरघा, रेशम उत्पादन और मिट्टी के बर्तन शामिल हैं। भागलपुर का सिल्क उद्योग राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रसिद्ध है।
हाल के वर्षों में खाद्य प्रसंस्करण, बिजली उत्पादन और सीमेंट निर्माण जैसे क्षेत्रों में विकास देखा गया है। 2022 में बिहार ने 1,800 मेगावाट बिजली उत्पादन किया।
बिहार सरकार ने औद्योगिक निवेश प्रोत्साहन नीति लागू की है, जिसके तहत राज्य में निवेश को बढ़ावा दिया जा रहा है।
सेवा क्षेत्र बिहार की अर्थव्यवस्था में 55% का योगदान करता है। इसमें शिक्षा, स्वास्थ्य, बैंकिंग और पर्यटन जैसे क्षेत्र शामिल हैं। पटना राज्य का सेवा क्षेत्र का मुख्य केंद्र है।
बिहार में शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार हुआ है। 2021-22 में राज्य का शिक्षा बजट ₹38,035 करोड़ था, जबकि स्वास्थ्य क्षेत्र पर ₹15,937 करोड़ खर्च किए गए।
पर्यटन से भी राज्य की आय में वृद्धि हो रही है। बोधगया, नालंदा और राजगीर जैसे स्थल अंतरराष्ट्रीय पर्यटकों को आकर्षित करते हैं।
बिहार का कुल राजस्व संग्रह 2021-22 में ₹1.21 लाख करोड़ था। इसमें GST, उत्पाद शुल्क और अन्य करों का बड़ा योगदान है।
बिहार सरकार ने हर घर नल का जल, कुशल युवा कार्यक्रम और प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना जैसी योजनाओं पर निवेश बढ़ाया है।
बिहार को बाढ़, बेरोजगारी और औद्योगिक विकास की कमी जैसी चुनौतियों का सामना करना पड़ता है।
राज्य की उपजाऊ भूमि, बड़ी जनसंख्या और पर्यटन स्थलों को ध्यान में रखते हुए, बिहार में आर्थिक विकास की अपार संभावनाएँ हैं।
बिहार भारत के सबसे अधिक जनसंख्या वाले राज्यों में से एक है। यह राज्य अपने सांस्कृतिक, भाषाई और धार्मिक विविधताओं के लिए प्रसिद्ध है। 2011 की जनगणना के अनुसार, बिहार की जनसंख्या 10.4 करोड़ थी, जो इसे भारत का तीसरा सबसे बड़ा राज्य बनाती है।
2011 की जनगणना के अनुसार, बिहार की कुल जनसंख्या 10,38,04,637 है, जिसमें 54,278,157 पुरुष और 48,526,480 महिलाएँ शामिल हैं।
बिहार में लगभग 89% जनसंख्या ग्रामीण क्षेत्रों में रहती है, जबकि शहरी क्षेत्रों में केवल 11% जनसंख्या निवास करती है। राज्य का मुख्य शहरी केंद्र पटना है।
बिहार का जनसंख्या घनत्व 1,106 व्यक्ति प्रति वर्ग किलोमीटर है, जो राष्ट्रीय औसत से काफी अधिक है। यह उच्च जनसंख्या घनत्व राज्य के संसाधनों पर दबाव डालता है।
बिहार का लिंग अनुपात 918 महिलाएँ प्रति 1,000 पुरुष है। यह आंकड़ा राष्ट्रीय औसत 940 से कम है। हाल के वर्षों में महिलाओं की स्थिति सुधारने के लिए कई योजनाएँ चलाई गई हैं।
बिहार की कुल साक्षरता दर 61.8% है। इसमें पुरुष साक्षरता दर 71.2% और महिला साक्षरता दर 51.5% है। राज्य की साक्षरता दर राष्ट्रीय औसत 74.04% से कम है।
शहरी क्षेत्रों में साक्षरता दर अधिक है, जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में साक्षरता दर अपेक्षाकृत कम है। पटना, गया और मुजफ्फरपुर जैसे जिलों में साक्षरता का स्तर बेहतर है।
बिहार में हिंदी राज्य की आधिकारिक भाषा है। इसके अलावा, मैथिली, भोजपुरी, मगही, और अंगिका जैसी भाषाएँ व्यापक रूप से बोली जाती हैं। मैथिली को 2003 में संविधान की आठवीं अनुसूची में शामिल किया गया था।
बिहार धार्मिक दृष्टि से विविध राज्य है। यहाँ 82.7% लोग हिंदू धर्म का पालन करते हैं, जबकि 16.9% मुस्लिम हैं। इसके अलावा, राज्य में जैन, बौद्ध और सिख समुदाय भी निवास करते हैं। बौद्ध धर्म का प्रमुख स्थल बोधगया बिहार में स्थित है।
राज्य की कुल जनसंख्या में से लगभग 33% लोग कृषि क्षेत्र में कार्यरत हैं। इसके अलावा, 18% लोग असंगठित क्षेत्र में मजदूरी करते हैं।
राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय के अनुसार, बिहार की गरीबी दर लगभग 33.74% है, जो राष्ट्रीय औसत 21.92% से अधिक है।
बिहार की जनसंख्या जातिगत दृष्टि से विविध है। यहाँ मुख्य रूप से अनुसूचित जाति (SC), अनुसूचित जनजाति (ST), और अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) के लोग निवास करते हैं। अनुसूचित जाति राज्य की जनसंख्या का 15.9% हिस्सा बनाती है।
उच्च जनसंख्या घनत्व और निम्न साक्षरता दर बिहार के विकास के सामने प्रमुख बाधाएँ हैं। साथ ही, गरीबी और महिलाओं के प्रति भेदभाव भी बड़ी चुनौतियाँ हैं।
राज्य में युवाओं की बड़ी जनसंख्या और सांस्कृतिक विविधता विकास के लिए महत्वपूर्ण संसाधन हैं। सरकार द्वारा शिक्षा और कौशल विकास पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।